जबलपुरमध्य प्रदेशराज्य

अव्यवस्था  : स्थाई जाति प्रमाण पत्र बनवाने भटक रहे बैगा परिवार, बच्चों का प्रवेश भी अटका

मवई | जिले बैगा परिवारो के लिए कई तरह की योजनाएं संचालित है लेकिन अफसरों की लापरवाही के चलते बैगाओ को उनका लाभ नहीं मिल रहा है। शिक्षा से लेकर स्वास्थ्य सेवाओं के लिए उन्हें परेशान होना पड़ रहा है। मवई जनपद क्षेत्र की ग्राम पंचायत अमवार बैगा बाहुल्य परिवार रहते है लेकिन बैगाओं के स्कूली बच्चो को एक जाति प्रमाण पत्र अफसर के द्वारा नहीं बनाया जा रहा है।

 

प्रमाण पत्र के लिए स्कूली बच्चो के अभिभावक कार्यालय के चक्कर लगा रहे हैं। अमवार के ग्रामीणों ने बताया है कि प्राथमिक शिक्षा पंचायत के स्कूल में प्राप्त करने के बाद अब माध्यमिक शिक्षा के लिए मवई मुख्यालय स्थित विद्यालयों या अन्य शैक्षणिक संस्थाओ में दखिला कराना चाहते है विद्यालय में दाखिला करवाने के लिए बच्चो के विभिन्न दस्तावेजों की आवश्यकता है इसमें मुख्य दस्तावेज स्थाई जाति प्रमाण पत्र है। स्थाई जाति प्रमाण पत्र बनवाने के लिए 9 पेज के प्रपत्र को विभिन्न संस्था और शासकीय प्रमाणिकता जरूरी है। प्रमुख रूप से ग्राम पंचायत का प्रस्ताव एवं स्थानीय पटवारी द्वारा भरे जाते है इन बैगा परिवारों को स्थाई जाति प्रमाण पत्र के लिए ग्राम पंचायत द्वारा प्रस्ताव सुलभता से मिल जाते है लेकिन पटवारी नहीं मिल रहे है। शासन ने तो पटवारियों को सप्ताह में कुछ दिन ग्रामीण क्षेत्रों के पंचायत कार्यालय बैठ कर ग्रामीणों के कार्य करने की व्यवस्था बनाई लेकिन बैगा बाहुल्य ग्राम पंचायत अमवार में पदस्थ मंडला बिछिया से अपडाऊन करने वाले पटवारी महीनो से अमवार नही पहुंचे है। इस वजह से बैगा परिवार के स्कूली बच्चो के प्रमाण पत्र नही बन पा रहे है और उनका विद्यालय में दाखिला भी नही हो रहा है।

तहसील कार्यालय में जमे रहते हैं पटवारी

ग्रामीणों ने बताया है कि पटवारी मंडला या बिछिया से समय समय पर आते है ऐसे ही अमवार में पदस्थ पटवारी तहसील कार्यलय मवई तक पहुंचते है इस बात की सूचना जब ग्रामीणों को मिली। पटवारी तहसील कार्यलय मवई तक आते है गत गुरुवार 27 जून को कुछ ग्रामीण तहसील कार्यालय मवई पहुंचे। पटवारी से बच्चो के जाति प्रमाण पत्र पत्रक को भरकर हस्ताक्षर करने के लिए गया। पटवारी द्वारा साफ शब्दों में हस्ताक्षर करने को मना करते हुए ये बोल दिया की ये सारे काम जब में अमवार आऊंगा तब करूंगा अभी यहां किसी भी प्रकार से कोई कार्य नहीं करूंगा। पटवारी के ये शब्द सुन बैगा परिवार बेरंग लौट गए। इस तहर बैगा बाहुल्य क्षेत्रो में गरीब परिवारो के साथ मजाक किया जा रहा है। दस्तावेज बनाने मे कोताही बरती जा रही है।

विशेष शिविर का आयोजन करने की मांग

शैक्षणिक सत्र शुरू होने पर पूरे मवई विकासखंड में जाति प्रमाण पत्र के लिए अभिभावक परेशान हो रहे है। यहा अमवार की समस्या अब और अधिक बढ़ गई। पटवारी ने हस्ताक्षर करने से मना कर दिया है। इसको लेकर ग्रामीणो ने जिला कलेक्टर से मांग की है कि अमवार समेत अन्य ग्रामीण क्षेत्रो में शिविर आयोजित किया जाए। जिससे अभिभावक अपने बच्चो के स्थाई जाति स्थाई मूलनिवासी प्रमाण पत्र बनवाने परेशान ना हो।

 

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