जबलपुरमध्य प्रदेशराज्य

जबलपुर केंद्रीय जेल की यशभारत इनसाइड स्टोरी-2: वकील ,परिजन की जाली मुलाक़ात में इंताकाम लेने की मुस्तैदी ,वीडियो कांफ्रेंसिंग की पेशी में भी छिड़ सकती है गैंगवॉर

वहीं सारंग की पिटाई होने के बाद चोटिल फोटो सोशल मीडिया में वायरल

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जबलपुर यश भारत।सेंट्रल जेल में दो बदमाशों के बीच वर्चस्व को लेकर लड़ाई हुई जिसमें की संजय सारंग नाम के बदमाश ने छोटू चौबे पर किसी नुकीली चीज से हमला कर दिया , इसके उपरांत छोटू को अस्पताल में शिफ्ट कराया गया था और सारंग को दूसरे बैरेक में रखा गया है जहां दूर-दूर तक छोटू और सारंग का आमना सामना ना हो सके परंतु पिछले 24 घंटे में सोशल मीडिया में सारंग के पैर और हाथ में प्लास्टर बंधी हुई पट्टियों की फोटो जमकर वायरल हुई है जेल सूत्रों से प्राप्त खबरों के अनुसार इस घटना के उपरांत जेल के अंदर सारंग द्वारा किए गए अपराधिक कृत्य के चलते सारंग की जमकर धुनाई की गई। अब यह धुनाई पुलिस की है या छोटू चौबे के गैंग के सदस्यों द्वारा की गई है यह तो जेल प्रशासन ही जाने। वहीं दूसरी तरफ मुलाकात के बहाने भी वारदात करने की तैयारी शुरू कर दी गई है और बदले के वर्चस्व के लिए वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग पेशी का भी कैदी फायदा उठा सकते हैं

मुलाकात के बहाने कैदी कैसे ले सकतें हैं बदला

सामान्य रूप से वकीलों से या फिर परिजन मुलाकात भी कैदियों के बदले लेने के लिए सबसे अच्छा मौका साबित होती है इस दौरान जिस कैदी को दूसरे कैदी से बदला लेना होता है वह जानबूझकर उसी दिन अपने वकील और परिजन से मुलाकात करता है जब दूसरे कैदी की भी अपने वकील और परिजन से मुलाकात हो। जिस कैदी को बदला लेना होता है वह अपने किसी भी शूटर को मुलाकात में भेजता है और खुद को बैरक में रहते हुए प्लांन को प्रोसेस करते हुए अपने किसी शूटर को भेज देते हैं ताकि मुख्य प्लानिंग करने वाला आरोपी पहले ही इस घटनाक्रम से सुरक्षित हो जाए और घटना होने के बाद उस पर कोई शक न हो इसके बाद लोकेशन ट्रेस करके उसी दिन अपनी मुलाकात रखवाया जाता है और इसी बीच जब दोनों कैदी अपने परिजन और वकीलों से बात कर रहे होते हैं तब यह मौका होता है जिसमें की नाई से चुराई ब्लेड और कैची काम आ जाती है और बदला लेने की नीयत से यह एक दूसरे पर हमला कर देते हैं।

वीडियो कांफ्रेंसिंग पेशी भी करते हैं वारदात

वहीं जेल से जुड़े सूत्र बताते हैं कि अगर मुलाकात की प्रक्रिया में कैदी एक दूसरे से बदला नहीं ले पाते तो उनका अगला रास्ता वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग पेशी होता है जिसके जरिए जब वह पीसी में पहुंचते हैं तो 5 मिनट के अंदर यह बदला लेने की वारदात को अंजाम दे देते हैं होता यह है कि कम से कम इस पेशी में 50 से 60 कैदी एक साथ पहुंचते हैं इस बीच सामने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में मजिस्ट्रेट के अलावा कैदी के पीछे सिर्फ एक हवलदार मौजूद होता है मजिस्ट्रेट द्वारा 2 मिनट की कैदी से पूछताछ करने के बाद कैदी को वापस भेज दिया जाता है इसी के बीच सही लोकेशन मिलते ही होशियार कैदी हमला कर देते हैं और अपने बदले को अंजाम देते हैं। प्राप्त जानकारी के अनुसार प्रतिदिन 50,60 वीडियो कांफ्रेंसिंग पेशी होती ही है।

कैंची और ब्लेड बनते हैं मुख्य हथियार

जेल में कैदी तरह-तरह से हथियार तैयार करते हैं और फिर उनका उपयोग अपने बचाव में या किसी की जान लेने में करते हैं.हमले के लिए लोहे की ग्रिल को नुकीला भी बनाया जाता है. कभी कभी राड को जेल की सलाखों से ही निकाला जाता है यहां जानने की बात है कि जेल में कई दुर्दांत कैदी अपनी रक्षा के लिए या किसी पर हमले के लिए जेल में उपलब्ध चीजों से ही हथियार तैयार कर लेते हैं.जेल में जब कई बार किसी को मारा जाता है तो ये जरूरी नहीं कि उसकी हत्या किसी पारंपरिक हथियार से ही की जाए, जैसे- गन, चाकू, तलवार या अन्य कोई जाना पहचाना हथियार. जेल में ऐसे हथियारों को हासिल कर पाना आसान नहीं होता है तो कैदी वहां मौजूद चीजों से ही हथियार बना लेते हैं और मौका मिलते ही वार कर देते हैं.वर्तमान में नेताजी सुभाष चंद्र बोस जेल में सबसे ज्यादा कैंची और ब्लड का चलन चल रहा है यह सारे कैदी बाल काटने वाले नाई की ब्लेड नाखून काटने के बहाने से चोरी कर लेते हैं या फिर कैंची कटिंग करवाते टाइम चुरा लेते हैं।

खाने के बर्तन व सुआ भी है हथियार

कई बार खाने के बर्तनों से भी हथियार तैयार कर लेते हैं. चम्मच का उपयोग चाकू की तरह करते हैं. ज्यादातर वो किसी भी चीज को नुकीला बना लेते हैं. हमले के लिए ब्लेड का भी इस्तेमाल किया जाता है. सुआ जिसे कहीं भी रखना आसान है, उससे भी हमले होते हैं.कुछ जगह जेल के अंदर लगी खिड़कियों की पत्तियों और एग्जॉस्ट फैन की पत्तियां को तोड़कर, उसके बाद पत्थर पर पत्तियां को कई दिनों तक घिसकर नुकीला बनाकर हमला करने के लिए उपयोग‌किया जाता है।

क्या है मामला

वहीं जेल अधीक्षक के अनुसार सोमवार को जेल में सजा काट रहे शहर के दो कुख्यात बदमाश भिड़ गए। बहस के बाद मारपीट तक पहुंची लड़ाई हमले तक पहुंच गई। एक कैदी ने दूसरे पर लोहे की धारदार पट्टी से हमला कर दिया। जिसमें एक घायल हो गया। जेल मेें हुए कैदियों के बीच संघर्ष से हडक़ंप मच गया। सूचना मिलते ही जेल अधिकारी, सुरक्षा कर्मी मौके पर पहुंच गए थे और दोनों कैदियों को लग करते हुए घायल को तुरंत उपचार के लिए जेल अस्पताल मेेंं भर्ती कराया गया। मामले में जेल प्रशासन ने जांच के आदेश दे दिए है।

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