कलेक्टर के आदेश से जारी होगी दिव्यांग से विवाह पर प्रोत्साहन राशि, प्रमुख सचिव या कमिश्नर किसी सहमति से मिलती थी राशि आसान हुई प्रक्रिया
जबलपुर, यशभारत। अब दिव्यांग युवक या युवती के विवाह को प्रोत्साहित करने के मामले में राज्य शासन ने वित्तीय अधिकार कलेक्टरों को सौंप दिए हैं। अब कलेक्टर अपने जिले में कितने भी दिव्यांगों को मुख्यमंत्री निशक्तजन विवाह योजना में प्रोत्साहन राशि सीधे दे सकेंगे। इसके लिए कलेक्टरों को अब सामाजिक न्याय और निशक्तजन विभाग के प्रमुख सचिव और कमिश्नर के पास प्रस्ताव भेजने और स्वीकृति लेने की जरूरत नहीं होगी।
बपहले कलेक्टर को सिर्फ दो लाख रुपए तक की ही स्वीकृति के अधिकार थे। इससे अधिक राशि स्वीकृत करने के लिए विभाग के कमिश्नर को प्रस्ताव भेजना होता था। साथ ही 10 लाख से अधिक की प्रोत्साहन राशि होने पर प्रमुख सचिव को इसकी मंजूरी देने का अधिकार था। प्रमुख सचिव वायंगणकर ने बताया कि, नई व्यवस्था के बाद अब कितने भी मामले हों और कितनी भी राशि इस योजना में जारी किया जाना हो, वह कलेक्टर खुद स्वीकृत कर दे सकेंगे। इससे निशक्तजन विवाह प्रोत्साहन योजना को और बढ़ावा मिलेगा। दिव्यांगों से विवाह करने वालों को प्रोत्साहन राशि के लिए शासन से मंजूरी का इंतजार नहीं करना होगा।