सीबीआई ने MP हाईकोर्ट में पेश की 308 नर्सिंग कॉलेजों की जांच रिपोर्ट, 50 की अभी शेष

जबलपुर। प्रदेश के बहुचर्चित नर्सिंग कॉलेज फर्जीवाड़ा को लेकर दायर याचिकाओं पर बुधवार को हाई कोर्ट में सुनवाई हुई। कोर्ट के पूर्व आदेश पर सीबीआई ने 308 कालेजों की जांच रिपोर्ट बंद लिफाफे में पेश की। कोर्ट के पूछने पर जांच एजेंसी की ओर से बताया गया कि अभी मेडिकल यूनिवर्सिटी से संबद्ध करीब 50 कालेजों की जांच होना शेष है। सीबीआई की ओर से रोक लगाई गई है। अतः जांच लंबित है। मुख्य न्यायाधीश रवि मलिमठ व न्यायमूर्ति विशाल मिश्रा की युगलपीठ ने रिपीट रिकार्ड पर लेजर मामले की अगली सुनवाई 23 फरवरी को नियत कर दी।
50 कालेजों जांच अभी शेष
कोर्ट के निर्देश पर कालेजों की अधोसंरचना के साथ सीबीआई माइग्रेटेड और डुप्लिकेट फैकल्टी के मुद्दे की भी जांच कर रही है। करीब 50 कालेज ऐसे हैं जिनकी जांच पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगाई है। इसके अलावा मध्य प्रदेश में चल रहे ऐसे करीब 300 डिप्लोमा नर्सिंग कालेज भी हैं जो सीधे मध्य प्रदेश नर्सिंग काउंसिल के अधीन हैं, इनकी जांच भी अभी बाकी है।
इंदौर और ग्वालियर बेंच से स्थानांतरित होकर आईं याचिकाओं पर अब मुख्यपीठ जबलपुर में सुनवाई हो रही है। लॉ स्टूडेंट एसोसियेशन के अध्यक्ष विशाल बघेल की ओर से पिछले साल यह मामला दायर किया गया था। जिसमें प्रदेश में फर्जी तरीके से नर्सिंग कालेजों के संचालन को चुनौती दी गई है।