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नए साल में बिजली बिल मारेगा करंट : बिजली कंपनियों को 2046 करोड़ का घाटा, बढ़ेगी महंगाई

•• बिजली कंपनियों को 55.072 करोड़ रुपए की जरुरत राजस्व आ रहा 53.026 करोड़

 

जबलपुर यश भारत l नए साल में बिजली बिल का झटका उपभोक्ताओं को लग सकता है घाटे से उबरने के लिए बिजली कंपनियों ने नया टैरिफ प्लान नियामक आयोग को भेजा है नियामक आयोग ने कंपनियों द्वारा भेजे गए प्लान के प्रस्ताव को मंजूर कर लिया है, जिस पर 29 जनवरी को जबलपुर 30 को भोपाल और 31 को इंदौर में सुनवाई होगी, वहीं अगर दावे आपत्तियों के बाद बिजली बिल बढ़ा दिया गया तो उपभोक्ताओं पर इसकी सीधी मार पड़ेगी साथ ही महंगाई में भी तड़का लग जाएगाl

मध्यप्रदेश पावर मैनेजमेंट ने नियामक आयोग को आगामी वित्तीय वर्ष 2024-25 की टैरिफ पिटीशन दी है, जिसमें बताया गया है कि बिजली कंपनियां घाटे में चल रही है। 2046 करोड़ रुपए की भरपाई के लिए बिजली दरें बढ़ानी होंगी। आयोग अब इस मामले में जनसुनवाई करेगी। दावे-आपत्तियां के बाद निर्णय लिया जाएगा कि बिजली के दाम बढ़ने हैं या नही। बिजली विभाग के जानकार बताते है कि आगामी लोकसभा चुनाव को देखते हुए बिजली की दरों में मामूली वृद्धि की जा सकती है।

नियामक आयोग को पिटीशन में बताया गया कि बिजली कंपनियों को 55.072 करोड़ रुपए की जरुरत होती है, लेकिन जो राजस्व आ रहा है, वो 53.026 करोड़ का है। ऐसे में बिजली कंपनियों को 2.046 का घाटा हो रहा है। लिहाजा इस अंतर की भरपाई के लिए बिजली के दामों को बढ़ाना होगा। आयोग के सामने घरेलू श्रेणी का 300 यूनिट के ऊपर वाला टैरिफ स्लैब खत्म करने का प्रस्ताव शामिल किया गया है। साथ ही, कई अन्य संशोधन भी नियामक आयोग के सामने पेश किए गए है।

गौरतलब है कि मौजूदा वित्तीय वर्ष में बिजली कंपनियों ने 3.20 फीसदी बिजली मंहगी करने की अनुमति नियामक आयोग से मांगी थी, जिस पर 1.65 मंहगी करने की अनुमति दी गई थी।

इन्होंने कहा…………..

बिजली कंपनियों ने नया टैरिफ प्लान भेजा है सुनवाई के बाद ही बिजली बिल बढ़ाने का निर्णय आयोग द्वारा लिया जाएगाl

जीडी वासनिक मुख्य अभियंता

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