सामूहिक अवकाश पर तहसीलदार और पटवारी: गलती है तो सजा मिले, तरीके से नाराज
जबलपुर यश भारत। वसीयत के अनोखे खेल में एक तहसीलदार को जेल जाना पड़ा वहीं एक पटवारी फरार है। जिसके ऊपर थाने में मामला दर्ज हो चुका है। सबके अपने अपने तर्क हैं जहां तहसीलदार और पटवारी की नाराजगी FIR को लेकर समझ में आती है। उनमें राजस्व विभाग के अधिकारियों पर हुई फिर को लेकर रोष है। तहसील में पदस्थ तहसीलदार हरि सिंह धुर्वे पर हुई FIR और फिर गिरफ्तारी के मामले में प्रदेश भर के तहसीलदार सामूहिक अवकाश पर चले गए है । वहीं इस मामले में दूसरे आरोपी पटवारी जोगेंद्र पिपरे के खिलाफ हुई FIR के मामले में पटवारी संघ भी सामूहिक अवकाश पर चला गया है। जिसके चलते गुरुवार को शहर के सभी तहसील कार्यालय खाली पड़े रहे और यहां काम करने आने वाले लोग परेशान होते रहे।
नामांतरण के और भी मामलों में धुर्वे पर चल रही जांच
नामांतरण के मामलों में हमेशा शिकवा शिकायत बनी रहती हैं आम जनता के लिए आज भी नामांतरण करना कठिन काम है। जिसको लेकर भी तहसीलदार धुर्वे पर कई आरोप लगे हुए हैं, जिनकी जांच चल रही है। जिसमें बहुत से मामले कार्य क्षेत्र से बाहर जाकर किए गए नामांतरण के हैं तो कुछ मामले में दस्तावेज अधूरे बताई जा रहे हैं जिसको लेकर एक पूरी सूची कलेक्टर के पास भेजी गई है। इसके अलावा पटाखा बाजार में दिए गए लाइसेंस का मामला भी सामने आ रहा है जिसमें उनके खिलाफ कार्रवाई की गई थी।
FIR निरस्त करने की मांग
इस पूरे मामले में मध्य प्रदेश राजस्व अधिकारी संघ का कहना है कि सामूहिक अवकाश का निर्णय प्रदेश स्तर पर लिया गया है। जब तक प्रदेश अध्यक्ष के द्वारा कोई भी कॉल नहीं आएगी तब तक वह सभी सामूहिक अवकाश पर रहेंगे। वही पटवारी और तहसीलदारों के अवकाश पर चले जाने के कारण गुरुवार को राजस्व कार्यालय खाली पड़े रहे और लोग काम करना भटकते रहे।