जबलपुरमध्य प्रदेश

स्वयं का श्राद्ध:अपने ही बच्चाें ने दिया धोखा… इसलिए अपना घर वृद्धाश्रम में जीते जी चार बुजुर्ग कर रहे खुद का श्राद्ध और पिंडदान

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जिन बच्चों के लिए जिंदगी में कमरतोड़ मेहनत की। उनके सपनों को पूरा करने के लिए दिन-रात एक कर दिया। उनकी उम्मीदों को ही अपना भविष्य मान बैठे।…. और जब वो बच्चे बड़े होकर आगे बढ़े, पद मिला, पैसा मिला…लेकिन उस ‘परछाई’ को भूल गए जो ताउम्र उनके लिए ही जीती रही।

यह हकीकत उन बुजुर्गों की है, जो शहर के विभिन्न वृद्धाश्रमों में रह रहे हैं। अपने ही बच्चों से धोखा खा चुके ये बुजुर्ग इस पितृपक्ष में खुद ही अपना पिंडदान कर रहे हैं। अपना घर के ही चार बुजुर्ग खुद ही अपना श्राद्ध और पिंडदान कर रहे हैं। वहीं, आसरा और आनंदधाम वृद्धाश्रम में ही अपनी देह त्याग चुके बुजुर्गों का पिंडदान करने अमावस्या के दिन तर्पण संस्कार आयोजित किया जाएगा।

जिस बेटे पर ताउम्र गर्व करता रहा… उसने ही कर दिया तिरस्कार
अपना घर वृद्धाश्रम में रहने वाले बुजुर्ग प्रेम नारायण सोनी(78), अजय गौड़(80), सुधीर मोहलकर(65), किशन बत्रा(85) खुद ही अपना श्राद्ध और पिंडदान कर रहे हैं। प्रेमनारायण सोनी बताते हैं कि जिस बेटे पर गर्व करता था, उसने ही तिरस्कार कर दिया। शादी के बाद उसके तेवर बदल गए। मुझसे मेरे ही एटीएम कार्ड तक छीन लिए। उसकी इन आदतों ने मुझे घर से निकलने के लिए मजबूर कर दिया इसलिए वृद्धाश्रम में रहने का निर्णय लिया। यही वजह है कि मैं जीते जी अपना श्राद्ध और पिंडदान कर रहा हूं, ताकि उसके ऊपर यह बोझ भी न रहे। अजय गौड़ बताते हैं कि जब खुद के बारे में सोचते हैं तो एक ही सवाल बार-बार सामने आता था कि हमारे मरने के बाद श्राद्ध और पिंडदान कौन करेगा। यही सोच कर जीते जी अपना श्राद्ध और पिंडदान कर रहे हैं। कुछ ऐसा ही दर्द किशन बत्रा और सुधीर मोहलकर का भी है।

अब वृद्धाश्रम ही परिवार…हर बुजुर्ग की भावना की करते हैं कद्र
अपना घर संचालक माधुरी मिश्रा ने बताया कि हमारे यहां जिन बुजुर्गों की पहले मौत हो चुकी है और उनके बच्चे अंतिम संस्कार तक में नहीं आए। वे वृद्धाश्रम में परिवार की तरह रह रहे। उनके लिए श्राद्ध और पिंडदान किया जाएगा। हमारे यहां पर 4 बुजुर्ग खुद का श्राद्ध और पिंडदान कर रहे हैं। उनके लिए आश्रम में व्यवस्था की हैं। आसरा वृद्धाश्रम की राधा चौबे ने बताया कि वृद्धाश्रम में जिन बुजुर्गों की पहले मौत हो चुकी है, उनका अमावस्या पर श्राद्ध किया जाएगा। आनंद वृद्धाश्रम के सचिव आरआर सुरंगे ने बताया कि मृत बुजुर्गों का अमावस्या पर पिंडदान और श्राद्ध किया जाएगा।

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