प्रयागराज की महक जायसवाल ने यूपी बोर्ड 12वीं में लहराया परचम
मजदूर पिता और गृहणी मां की बेटी बनीं टॉपर


महक के पिता, शिव प्रसाद जायसवाल, पेशे से एक मजदूर हैं, जबकि उनकी मां, कुसुम जायसवाल, एक गृहणी हैं। विपरीत परिस्थितियों के बावजूद महक ने अपनी मेहनत और लगन से यह मुकाम हासिल किया है। यह उल्लेखनीय है कि महक की बड़ी बहन, आरुषि जायसवाल ने भी 2018 में इंटरमीडिएट की परीक्षा में प्रदेश में चौथा स्थान प्राप्त किया था।
अपनी सफलता पर बात करते हुए महक ने बताया कि उन्हें यूपी टॉप करने की उम्मीद नहीं थी। उन्होंने कहा कि वह रोजाना 9-10 घंटे पढ़ाई करती थीं और उन्हें 95% अंक आने की उम्मीद थी। महक ने यह भी बताया कि उन्होंने किसी भी कोचिंग संस्थान में दाखिला नहीं लिया था और वह केवल स्कूल में पढ़ाई गई चीजों से ही तैयारी करती थीं। उन्होंने अपनी सफलता का श्रेय अपने परिवार के सहयोग और प्रेरणा को दिया। महक का सपना डॉक्टर बनने का है।
इस वर्ष इंटरमीडिएट की परीक्षा में 81.15% विद्यार्थी सफल हुए हैं। अमरोहा की साक्षी, सुल्तानपुर के आदर्श यादव, प्रयागराज की शिवानी सिंह और कौशाम्बी की अनुष्का सिंह ने दूसरा स्थान प्राप्त किया, जबकि इटावा की मोहिनी तीसरे स्थान पर रहीं।
महक जायसवाल की कहानी उन सभी छात्रों के लिए प्रेरणादायक है जो सीमित संसाधनों के बावजूद बड़े सपने देखते हैं और उन्हें पूरा करने के लिए कड़ी मेहनत करते हैं।