एक ही स्कूल में 20 वर्षों से पदस्थ शिक्षकों के अमानवीय व्यवहार से विद्यार्थी परेशान : पालक और ग्रामीणों ने कलेक्टर और सहायक आयुक्त को सौंपा ज्ञापन

मंडला lमोहगांव विकासखंड के अंतर्गत मिडिल स्कूल खालेंगिठोरी में लगभग बीसों साल से पदस्थ शिक्षकों के अमानवीय व्यवहार से त्रस्त होकर इनको जल्द अलग करने ग्रामीणों ने जिला कलेक्ट्रेट पहुंचकर ज्ञापन सौंपा है।
ग्राम पंचायत सरपंच ने बताया ,कि मिडिल स्कूल खालेंगिठोरी में लगभग 20 साल से शिक्षक रजनी जैसवाल और विजय द्विवेदी शिक्षक के रूप में पदस्थ हैं। इनकी पढ़ाई का तरीका इतना गंदा है, कि इस गांव के 50 बच्चे दूर और दूसरे गांव के मिडिल स्कूलों में पढ़ने जाने मजबूर हैं। उपसरपंच रजा मलिक और जनपद सदस्य बोध सिंह मरकाम ने बताया, कि शिक्षकों ने ग्रामीणों के साथ हद पार करते हुए अव्यवहारिक बर्ताव हाल ही के 26 जनवरी गणतंत्र पर्व के दिन किया है,कि लोकतांत्रिक व्यवस्था के चलते इनको कभी क्षमा नहीं किया जाना चाहिए।
स्कूल के एक कमरे के भीतर बच्चों के सांस्कृतिक कार्यक्रम कराए गए।ग्रामीण,पालक और जनप्रतिनिधियों को भी कार्यक्रम में शामिल नहीं किया गया न ही देखने दिया गया। राष्ट्रीय पर्वों में सामिल होने आमंत्रण तो इनके रहते कभी मिले ही हैं। बच्चों के कायक्रम को पढ़ने वाले बच्चों और दो चार महिलाओं के अलावा ग्रामीणों, जनप्रतिनिधियों न ही पालकों को देखने भी नहीं दिया गया।जब गांव वाले कार्यक्रम देखने स्कूल पहुंचे तो दोनों शिक्षकों ने ग्रामीणों से गंदा बर्ताव करने लगे।जिससे नाराज होकर ग्रामीण सोमवार 27 जनवरी को कलेक्टर से मिलकर शिकायत करने मंडला पहुंचे।ज्ञापन अपर कलेक्टर और प्रभारी सहायक आयुक्त वंदना गुप्ता के हाथ सौपे। इन्होंने जल्द से जल्द कार्रवाई कर ग्रामीणों की समस्या खत्म करने का आश्वासन दिया है। इसके बाद ग्रामीण क्षेत्रीय सांसद फग्गन सिंह कुलस्ते से मुलाकात करने गये। ग्रामीणों ने बताया कि शिक्षक
विजय द्विवेदी और रजनी जैसवाल को इस स्कूल से अन्यत्र कहीं और पहुंचाए जाने के लिए ग्रामीणों के द्वारा इसके पहले भी क्षेत्रीय सांसद, सहायक आयुक्त, विकासखंड शिक्षा अधिकारी और कलेक्टर को भी लिखित में अनेकों बार आवेदन निवेदन किए जा चुके हैं बावजूद इसके अभी तक इन दोनों शिक्षकों के संबंध में किसी भी प्रकार की कार्यवाही नहीं की जा सकी है।जिससे इन शिक्षकों का हौसला और बढ़ता जा रहा है। राजनीतिक संरक्षण मिलने की बात इनके द्वारा बार-बार कही जाती है।जिससे ना तो बच्चों को ठीक-ठाक पढ़ाई लिखाई करा पाते हैं न ही स्कूल का उचित प्रबंधन किया जा पा रहा है ।और तो और पालकों और ग्रामीणों के साथ भी अमानवीय किस्म का व्यवहार हमेशा करना बंद नहीं हो पा रहा है। ग्रामीणों ने ज्ञापन में चेतावनी भी दी है,कि इन दोनों शिक्षकों को तीन दिवस के अंदर अलग नहीं किया गया तो ग्रामीण अपने ही गांव के मुख्य मार्ग में चक्काजाम जैसे उग्र आंदोलन कर प्रशासन का ध्यान इस समस्या की ओर लाना चाहेंगे। जिसकी पूरी जिम्मेदारी जिला प्रशासन की होगी।
सरपंच गंगा बती मरावी, उपसरपंच रजा मलिक,जनपद सदस्य बोध सिंह मरकाम,गंगा वती यादव,बबली मोंगरे,द्रोपती पनरिया,पालक शिक्षक संघ अध्यक्ष योगेश्वरी मार्को,लक्ष्मी यादव,पुष्पा यादव,दिनेश वरकड़े,अजय विश्वकर्मा,भूपत मरावी, पूर्व सरपंच बलीराम मरावी,पेशा एक्ट अध्यक्ष,हिरोंदी,सोहद्रा बाई,अशोक परते,ह्रदय लाल परते,जोगी सिंह मरावी सहित हजारों की संख्या में ग्रामीण मुख्य रूप से पहुंचे।