ट्रिपल मर्डर के बाद खुदकुशी : पति और प्रेमी दोनों के साथ रहना चाहती थी मृतिका, पति ने अपने ही परिवार को तबाह कर किया सुसाइड

सतना। ट्रिपल मर्डर के बाद खुदकुशी से एक हंसता-खेलता परिवार तबाह हो गया। अब तक की जांच में इस सनसनीखेज घटना की जड़ में महिला, पति और प्रेमी दोनों के साथ संबंध बनाए रखने की जिद ही सामने आ रही है। दरअसल पूरा मामला प्रेम प्रसंग से जुड़ा हुआ है | उसके इस रवैये ने दो मासूम जिंदगियों को भी असमय ही खत्म कर दिया।
इस संबंध में पुलिस ने बताया कि संगीता का मायका सभापुर थाना क्षेत्र के खांच-रेउहान गांव में है। उसकी शादी 10 वर्ष पहले राकेश के साथ की गई थी, जिससे 8 और 6 वर्ष के दो बेटे हैं। विवाह के बाद महिला की जान-पहचान कमलेश चौधरी नामक युवक से हो गई। दोनों के बीच फोन पर लगातार बातचीत होने लगी। इसी बीच 15 फरवरी 2024 को संगीता एक बेटे को लेकर गायब हो गई, तब पति ने कोतवाली में गुमशुदगी दर्ज कराई थी। लगभग एक महीने बाद परिजन उसे खोज लाए, मगर तब महिला ने लिखित हलफनामा देकर प्रेमी कमलेश के साथ रहने की इच्छा जताई, हालांकि घर वालों के दबाव में पति के साथ ही रुक गई।
एडमिशन फार्म में लिखाया प्रेमी का नाम
संगीता 14 जून 2024 को एक बार फिर दोनों बेटों के साथ प्रेमी के पास कटनी चली गई, जहां 29 जून को एक विद्यालय में बड़े बेटे निखिल का – एडमिशन कराते हुए पिता की जगह कमलेश का नाम दर्ज कराया। इस सब के बावजूद 5 जुलाई को फिर से बच्चों को लेकर संगीता पति के पास आ गई। पत्नी की हरकतों से राकेश काफी अपमानित महसूस कर रहा था, इसी के चलते वह गांव छोडक़र सतना में रहने आया था। पुलिस को कमरे से एफीडेविड भी मिला है।
सीसीटीवी फुटेज से मिले अहम सुराग
घटना स्थल की जांच के दौरान पुलिस टीम को राजेश प्रजापति के घर के ठीक सामने बने मकान के बाहर सीसीटीवी कैमरा नजर आया, जिसका फोकस उस कमरे की तरफ ही था, जिसमें संगीता और उसके दोनों बच्चों के शव मिले थे। ऐसे में पुलिस की एक टीम को 9 जुलाई की सुबह चौधरी परिवार के कमरे में आने से लेकर 10 जुलाई की सुबह 7 बजे तक की रिकार्डिंग देखने का टास्क दिया गया। एक-एक मिनट के फुटेज चेक किए गए, जिसमें यह स्पष्ट हो गया कि मंगलवार रात को सवा 8 बजे संगीता और राकेश काम से लौटे, फिर राकेश बच्चों को लेकर बाजार की तरफ चला गया, जबकि महिला फोन पर बात करने लगी।
3 घंटे 16 मिनट में हुआ खूनी खेल
40 मिनट के बाद 8.51 पर युवक दोनों बेटों के साथ वापस आया, तब भी संगीता फोन पर बात कर रही थी। यह देखकर पति ने मोबाइल छुड़ाया और खींचकर उसे कमरे में ले गया, इसके बाद दरवाजा बंद हो गया। रात 12 बजकर 7 मिनट पर एक बार फिर कमरे का गेट खुला, जिससे राकेश हड़बड़ी में बाहर निकला और कुछ कदम पूर्व की तरफ जाने के बाद रेलवे ट्रैक की तरफ पैदल निकल गया। इसके ‘पश्चात बुधवार सुबह साढ़े 6 बजे मकान मालिक की पत्नी चंदा प्रजापति कमरे का दरवाजा खोलते दिखी। पुलिस के मुताबिक सीसीटीवी फुटेज से यह स्पष्ट है कि कमरे में कोई तीसरा व्यक्ति नहीं आया, बंद दरवाजे के अंदर संभवतः विवाद के बाद राकेश चौधरी ने ही धारदार हथियार से पहले पत्नी, फिर दोनों बच्चों को मौत के घाट उतार दिया और आत्मग्लानी के चलते ट्रेन से कटकर जान दे दी। अभी तक वारदात में प्रयुक्त हथियार बरामद नहीं हुआ है।