जबलपुर- सतना यशभारत। मध्य प्रदेश के सतना जिले में दिल को झकझोर देने वाली तस्वीर सामने आई है. यहां एक प्रसूता को कुछ लोग कपड़े का खाट बनाकर कंधे पर लटाकर एंबुलेंस तक पहंुचा रहे हैं। इसका एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। सुशासन की सरकार में विकास के दावे के बीच सिस्टम की अनदेखी की इस शर्मनाक तस्वीर को देखकर कई सवाल खड़े हो गए हैं, क्या हम इंसानी बस्ती में रहते हैं या फिर वाकई ये सिस्टम सड़ गया है?।
जानकारी के अनुसार चित्रकूट नगर पंचायत क्षेत्र में विकास की एक शर्मनाक तस्वीर, जो की चित्रकूट नगर पंचायत वार्ड क्रमांक 15 थारपहाड़ की है, जंहा रोड न होने से प्रसूता को डिलेवरी के लिए एंबुलेंस तक नसीब नहीं होती, लिहाजा परिजन महिला को मुख्य सड़क तक पहुंचाने के लिए एक कपडे की झोली में डाल जद्दोजहद करते है, एंबुलेंस तक पहुंचाते हैं करीब 400 से अधिक वोटर वाले थरपहाड में वोट मांगने के लिए तो नेता खूब पहुंचते है किन्तु इनकी मजबूरियों की तरफ आज तक किसी ने पलट कर नहीं देखा।
बीच रास्ते में ही बच्ची को दिया जन्म
ग्रामीणों ने बताया कि गांव से मुख्य सड़क तक पहंुचने के लिए करीब दो किलोमीटर पैदल चलना पड़ता है। कल भी ऐसा ही हुआ, प्रसव पीड़ा से कराह रही महिला को कंधे के सहारे मुख्य सड़क पहंुचाया जा रहा था परंतु बीच रास्ते में ही महिला ने बच्चे को जन्म दे दिया। ग्रामीणों का कहना था कि भगवान का शुक्र था कि महिला को कुछ हुआ नहीं लेकिन कई बार तो गंभीर मरीज को मुख्य सड़क तक लाते वक्त उसकी जान चली जाती है।
गांव विकास नाम पर सिर्फ हवाहवाई
भले ही महिला का खतरे से बाहर है। लेकिन कुछ भी हो सकता है। ऐसे में यह सोचने वाली बात है कि जिस मध्यप्रदेश में आए दिन आत्याआधुनिक स्वास्थ्य सुविधाओं का जनप्रतिनिधि फीता काटते नजर आते हैं। यह कहते हैं कि सरकार गांवों की विकास के लिए लगातार काम कर रही है। वहीं जहां के आपकी सरकार आपके दरबार कार्यक्रम करती है। ऐसे में मध्यप्रदेश के सतना जिले की ये तस्वीर निकल कर सामने आना दावों को झूठा साबित करती दिखती है।
गांव से मुख्य सड़क क्यों नहीं बनी किसी को पता नहीं
प्रसूता के परिवार में बहुत लोग थे इससिए कपड़े की बनी टोकरी के सहारे मुख्य सड़क लाया गया परंतु सवाल ये उठता है कि अगर किसी के परिवार मे ंएक ही सदस्य है तो वह कैसे मरीज को मुख्य सड़क तक ला सकता है। सबसे हैरान करने वाली बात ये है कि गांव से मुख्य मार्ग तक क्यों सड़क नहीं बनी इसका जवाब किसी के पास नहीं है। क्षेत्र के जनप्रतिनिधि हो या फिर अधिकारी सब दावे आज खोखेल साबित हो रहे हैं।