जबलपुर सहित देश की 62 छावनी बोर्ड होंगे भंग, नगर निगम के सुपुर्द होगा केंट बोर्ड

नई दिल्ली एजेंसी। केंद्र सरकार ने एक बड़ा फैसला लेते हुए देश के सभी 62 सैन्य छावनी बोर्डों को भंग करने का फैसला किया है, जिससे औपनिवेशिक युग की छावनी व्यवस्था खत्म हो जाएगी। सरकार ने स्थानीय नगरपालिका निकायों को छावनी के तहत नागरिक क्षेत्रों को सौंपने का भी फैसला किया है। जबकि छावनी में सैन्य क्षेत्रों को सैन्य स्टेशनों में बदल दिया जाएगा। देश में वर्तमान में 62 छावनी बोर्ड हैं।भारत में ब्रिटिश शासन के तहत प्रचलित छावनी बोर्ड प्रणाली की पूरी प्रणाली को उपनिवेश से मुक्त करने के प्रयास में यह निर्णय लिया गया है।जो क्षेत्र सैन्य नियंत्रण में रह गए हैं, उन्हें सैन्य स्टेशन में बदल दिया जाएगा और नागरिक क्षेत्रों को नगर निकायों को सौंप दिया जाएगा। इससे पहले योल छावनी के निवासियों ने मांग की थी कि उन्हें छावनी क्षेत्र से बाहर किया जाए। छावनी के 12,028 निवासियों ने लंबे समय से मांग की थी कि विकासात्मक गतिविधियों की तलाश के लिए छावनी बोर्ड को भंग कर दिया जाए। हिमाचल सरकार और केंद्र के अधिकारियों की 2020 में हुई बैठक के बाद आखिरकार उनकी मांगें मान ली गईं।







