जबलपुरमध्य प्रदेश

बरगी में सागौन की तस्करी : 5 लाख कीमती लकड़ी की चोरी की पीआरओ 3 दिन बाद

- वन विभाग के छोटे कर्मचारी ने किया खुलासा, विभाग की छवि बचाने दबाया मामला

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जबलपुर, यश भारत। जंगल पुलिस का बरगी में एक सनसनीखेज मामला सामने आया है। दरअसल 5 लाख की सागौन लकड़ी का प्रकरण चोरी होने के तीन दिन बाद दर्ज किया जा रहा है। इस पूरे मामले का खुलासा वन विभाग के एक वनरक्षक ने करते हुए विभाग के डिप्टीरेंजर की भूमिका को संदिग्ध बताया है। इधर, वन विभाग की पुलिस की छवि खराब ना हो, इस लिहाज से प्रकरण को दबाने की कोशिश दो दिन से की जा रही थी।

जानकारी अनुसार बरगी के गेहगंदा गांव में वन विभाग पुलिस ने छापेमारी करते हुए ग्रामीण शुक्कू यादव के घर से बड़ी तादात में सागौन लकड़ी की सिल्ली बरामद की है। गुरुवार के दिन विभाग ने ग्रामीण के घर में छापेमारी की थी। लेकिन प्रकरण आज शनिवार को दर्ज किया गया है। इस पूरे मामले में वन विभाग जांच टीम पर सवाल उठाय जा रहे है।

वनरक्षक ने किया खुलासा
बताया जा रहा है इस पूरे प्रकरण में एक अधिकारी काफी समय से सागौन
लकड़ी की तस्करी में लिप्त है। कई साल से वह जंगल से लकड़ी बाहर सप्लाई कर रहा था। गुरुवार के दिन एक वनरक्षक को इसकी सूचना मिली। उसने मौके पर जाकर देखा तो डिप्टी रेंजर लकड़ी को ठिकाने लगाने के लिए गेहगंदा गांव में घूम रहा था। डिप्टी रेंजर को भनक लगी कि वनरक्षक को इस बात की जानकारी लग गई है तो उसने तस्करी का पूरा माल ग्रामीण के घर में रखवा दिया।

बड़े अफसरों तक पहुंची ही नहीं जानकारी
मामला कितना संदिग्ध और विभाग के अधिकारियों की संलिप्तता कितनी है, अंदाजा लगाया जा सकता है कि विभाग के बड़े अधिकारियों को अभी तक जानकारी ही नहीं पहुंचाई गई है। लंबे समय से लकड़ी तस्करी का खेल बरगी के जंगलों से किया जा रहा है। संभवत: यह पहली दफा है कि विभाग के अधिकारी, कर्मचारी तस्करी के गोरखधंधे में लिप्त है। हालांकि पूरे मामले की जांच चल रही है।

वर्जन…….
इस मामले की अभी जानकारी मेरे पास नहीं आई है। अगर कहीं गड़बड़ी हुई है तो निश्चित रुप से जांच कराई जाएगी। संबंधित अधिकारियों से मामले की जानकारी मंगाई जा रही है।

कमल आरोरा, मुख्य वन रक्षक जबलपुर
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मामले में प्रकरण दर्ज करवाया गया है। आरोपी से पूछताछ चल रही है। ग्रामीण बढ़ई के पास सागौन पकड़ी गई है।

फॉरेस्ट बरगी रेंजर, वर्षा बिसेन

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