जंगलों में जानवरों की प्यास की चिंता…वन विभाग कर रहा पानी का इंतजाम, ताकि जानवर न भटकें, पुराने कुंडों की सफाई, नए कुंड बनाए जा रहे

कटनी, यशभारत। गर्मी का प्रकोप अब दिनोंदिन बढ़ रहा है। पारा भी उछाल मार रहा है। ऐसे में वन्य प्राणियों की प्यास बुझाने के लिए वन विभाग अब वन क्षेत्र में जल संरचनाओं का निर्माण कराने की तैयारी कर रहा है, ताकि प्यास बुझाने के लिए वन्य जीवों को यहां-वहां नहीं भटकना पड़े। इसके अलावा वन क्षेत्र में पहले से स्थित सोसर की भी सफाई कराई जाएगी, जिससे उनमें पानी की आवक बनी रहे। इसके लिए पूरा प्लान तैयार किया गया है। कटनी वन परिक्षेत्र की बात करें तों यहां पुराने सोसर की मरम्मत कराई जा रही है और नए सोसर का निर्माण किया जा रहा है, जहां वन्य प्राणी अपनी प्यास बुझा पाएंगे। विदित हो कि हर साल गर्मी के मौसम में वन क्षेत्रों में स्थित जलस्त्रोत सूख जाते हैं और पानी की तलाश में वन्य जीव की शहरों की तरफ भागते हैं। जिससे ये या तो हादसे का शिकार हो जाते हैं या फिर आवारा कुत्ते इनका शिकार करते हैं। पिछले साल हुई घटनाओं को ध्यान में रखते हुए वन विभाग द्वारा इस बार समय से पहले ही जंगलों में पानी के इंतजाम करने की योजना बनाई गई है। कटनी वन परिक्षेत्र अधिकारी नबी अहमद खान ने बताया कि जिला मुख्यालय से लगे जंगलों में वन्य जीवों के लिए पीने के पानी का इंतजाम कराया जा रहा है। जंगलों में बने साोसर में डेम और जलस्त्रोतो ंके साथ ही अन्य माध्यमों से पानी की व्यवस्था कराई जा रही है। निवार-पहाड़ा के पास स्थित ठरका डेम से पानी की सप्लाई जंगल में की जा रही है और यहां बने सोसर में पानी भरा जा रहा है। इसी तरह जुहला रोड पर स्थित सुरखी टेंक और पन्ना रोड पर ग्राम अमराडाड़ में स्थित डेम से जंगलों में पानी में पहुंचाने की व्यवस्था की जा रही है। उन्होंने बताया कि गर्मी के प्रकोप और जंगलों में जानवरों की बढ़ती संख्या को देखते हुए नए सोसर भी बनाए जा रहे हैं, जिसमे लखापतेरी के पास और कैलवारा के जंगल में नए सोसर बनाए जा रहे हैं, जिससे वन्य जीवों को पानी के लिए भटकना नहीं पड़े।
इनका कहना है
गर्मी के मौसम में जलस्त्रोत सूखने के बाद वन्य जीवों के लिए पीने के पानी का इंतजाम किया जा रहा है। नए सोसर बनाने के साथ ही पुराने सोसर की मरम्मत कराई जा रही है। जिससे वन्य जीवों को पानी के लिए इधर-उधर नहीं भटकना पड़े।
-नबी अहमद खान, वन परिक्षेत्र अधिकारी कटनी
कटनी, यशभारत। गर्मी का प्रकोप अब दिनोंदिन बढ़ रहा है। पारा भी उछाल मार रहा है। ऐसे में वन्य प्राणियों की प्यास बुझाने के लिए वन विभाग अब वन क्षेत्र में जल संरचनाओं का निर्माण कराने की तैयारी कर रहा है, ताकि प्यास बुझाने के लिए वन्य जीवों को यहां-वहां नहीं भटकना पड़े। इसके अलावा वन क्षेत्र में पहले से स्थित सोसर की भी सफाई कराई जाएगी, जिससे उनमें पानी की आवक बनी रहे। इसके लिए पूरा प्लान तैयार किया गया है। कटनी वन परिक्षेत्र की बात करें तों यहां पुराने सोसर की मरम्मत कराई जा रही है और नए सोसर का निर्माण किया जा रहा है, जहां वन्य प्राणी अपनी प्यास बुझा पाएंगे। विदित हो कि हर साल गर्मी के मौसम में वन क्षेत्रों में स्थित जलस्त्रोत सूख जाते हैं और पानी की तलाश में वन्य जीव की शहरों की तरफ भागते हैं। जिससे ये या तो हादसे का शिकार हो जाते हैं या फिर आवारा कुत्ते इनका शिकार करते हैं। पिछले साल हुई घटनाओं को ध्यान में रखते हुए वन विभाग द्वारा इस बार समय से पहले ही जंगलों में पानी के इंतजाम करने की योजना बनाई गई है। कटनी वन परिक्षेत्र अधिकारी नबी अहमद खान ने बताया कि जिला मुख्यालय से लगे जंगलों में वन्य जीवों के लिए पीने के पानी का इंतजाम कराया जा रहा है। जंगलों में बने साोसर में डेम और जलस्त्रोतो ंके साथ ही अन्य माध्यमों से पानी की व्यवस्था कराई जा रही है। निवार-पहाड़ा के पास स्थित ठरका डेम से पानी की सप्लाई जंगल में की जा रही है और यहां बने सोसर में पानी भरा जा रहा है। इसी तरह जुहला रोड पर स्थित सुरखी टेंक और पन्ना रोड पर ग्राम अमराडाड़ में स्थित डेम से जंगलों में पानी में पहुंचाने की व्यवस्था की जा रही है। उन्होंने बताया कि गर्मी के प्रकोप और जंगलों में जानवरों की बढ़ती संख्या को देखते हुए नए सोसर भी बनाए जा रहे हैं, जिसमे लखापतेरी के पास और कैलवारा के जंगल में नए सोसर बनाए जा रहे हैं, जिससे वन्य जीवों को पानी के लिए भटकना नहीं पड़े।
इनका कहना है
गर्मी के मौसम में जलस्त्रोत सूखने के बाद वन्य जीवों के लिए पीने के पानी का इंतजाम किया जा रहा है। नए सोसर बनाने के साथ ही पुराने सोसर की मरम्मत कराई जा रही है। जिससे वन्य जीवों को पानी के लिए इधर-उधर नहीं भटकना पड़े।
-नबी अहमद खान, वन परिक्षेत्र अधिकारी कटनी
