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डीईओ सख्तः चारित्रिक सत्यापन कराना ही पड़ेगा

प्राचार्यों से लिया फीड बैक, मंगाई गई सूची

जबलपुर यशभारत। स्कूल के शिक्षक सहित पूरे स्टाफ का चारित्रिक सत्यापन और पुलिस वेरीफिकेशन कराने संबंधी शासन के आदेश को कड़ाई पालने कराने के लिए जिला शिक्षा अधिकारी ने सख्त रूख अपनाया है। संकुल प्राचार्य सहित प्राचार्यों को आदेशित किया है वह ऐसे शिक्षक और स्टाफ की जानकारी तत्काल भेजे जिन्होंने पुलिस वेरीफिकेशन करा लिया है। डीईओ ने कहा कि इस कार्य में लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी, सभी कर्मचारी-अधिकारियों को चारि़ि़त्रक और पुलिस वेरीफिकेशन कराना होगा।

मालूम हो कि शासकीय एवं अशासकीय शालाओं तथा मदरसों में कार्यरत शैक्षणिक एवं गैर शैक्षणिक स्टाफ का चारित्रिक सत्यापन एवं पुलिस वेरीफिकेशन कराने के निर्देश शाला प्रचार्यों और प्रधानाध्यापकों को दिए गए वेरिफिकेशन को अनिवार्य किया गया। आदेश में सभी शैक्षणिक एवं गैर शैक्षणिक स्टाफ का पुलिस एवं चारित्रिक सत्यापन करा कर इसका प्रमाण पत्र बीआरसी के माध्यम से जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय में अनिवार्य रूप से प्रस्तुत करने कहा गया।

 इनका होना है वेरीफिकेशन
प्राचार्यों एवं प्रधानाध्यापकों को निर्देश दिए गए हैं कि यदि स्टाफ में शिक्षक, गेम्स टीचर, केयर टेकर, कम्प्यूटर ऑपरेटर, गार्ड, सफाई कर्मी, माली, बस ड्राइवर, कंडक्टर, क्लीनर, विद्युत कर्मी जैसे गैर शैक्षणिक स्टाफ का पुलिस वेरीफिकेशन एवं चारित्रिक सत्यापन नहीं हुआ हो तो उनका भी दो दिन के भीतर पुलिस वेरीफिकेशन एवं चारित्रिक सत्यापन अनिवार्य रूप से करा लिया जाये।

अपराधिक रिकॉर्ड तो शाला काम नहीं
निर्देशों में स्पष्ट किया गया है कि किसी भी स्थिति में ऐसे किसी भी व्यक्ति जिसका चारित्रिक रिकार्ड ठीक नहीं हो या अपराधिक प्रवृत्ति का कोई रिकार्ड रहा हो तो उसे शाला के किसी भी कार्य में संलग्न न करें।

इनका कहना है
शैक्षणिक एवं गैर शैक्षणिक स्टाफ का पुलिस एवं चारित्रिक सत्यापन कराने आदेश करने के साथ विकासखंड अधिकारियों को निर्देशित किया है कि वह जल्द से जल्द इसकी रिपोर्ट कार्यालय भेजे।
घनश्याम सोनी, जिला शिक्षा अधिकारी

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