सुपरस्पेशलिटी हास्पिटल के डॉक्टरों ने गंभीर हार्ट अटेक के मरीज में की सफल जटिल एंजियोप्लास्टी
जबलपुर, यशभारत। नेताजी सुभाष चंद्र बोस मेडिकल स्थित सुपरस्पेशिलिटी अस्पताल के हदय रोग विशेषज्ञ चिकित्सको की टीम द्वारा 65 वर्षीय ग्रामीण अंचल की महिला जो कि गंभीर हार्ट अटेक से पीडित थी का अत्याधुनिक इंट्रावास्कुलर अल्ट्रासाउण्ड तकनीक द्वारा हदय की नस की सफ्ल एंजियोप्लास्टी की गई। हदय रोग विभागाध्यक्ष डॉ. सुहेल सिद्दीकी ने बताया की उपरोक्त मरीज जो कि गंभीर हार्ट अटेक से पीडित थी को परीजनों द्वारा सुपरस्पेशिलिटी अस्पताल में उपचार हेतु लाया गया था। यहाँ पर आवश्यक जाँचे व एंजियोग्राफी करने के बाद यह पता लगा की मरीज के हदय की नसों (कोरोनरी आरटरी) में किटीकल ब्लाकेज व अत्याधिक केल्सियम जमा हुआ है तथा कोरोनरी आरटरीज घुमावदार है। उपरोक्त गंभीर समस्या को देखते हुऐ इसके उपचार हेतु हदय रोग विभाग में हाल में ही स्थापित इंद्रावास्कुलर अल्ट्रासाउण्ड मशीन के माध्यम से हार्ट के नसों के ब्लोकेज को ठीक करने हेतु जटिल प्रकिया का विकल्प चुना गया जो कि पूर्णतः सफल रहा।
यह तकनीक वर्तमान समय में महानगरों एवं बड़े अस्पतालों में ही उपलब्ध है।
इंद्रावस्कुलर अल्ट्रासाउण्ड एंजियोप्लास्टी तकनीक का फायदा –
हदय रोग विशेषज्ञ डॉ. सुहेल सिद्दीकी ने बताया की इस तकनीक के माध्यम से हदय की धमनियों (कोरोनरी आरटरीज) की संरचना जैसे इसमें केल्सियम का जमाव, कोरोनरी आरटरी का डायमीटर व ऐरिया (एम.एल.ए). खून के प्रवाह में अवरोध (प्लाक वर्डन), ब्रान्च वैसल्स की विस्तृत जानकारी तथा ब्लॉकेज को दूर करने हेतु कोरोनरी आरटरी में स्टेन्ट लगाने के बिल्कुल सही स्थान की जानकारी मिलती है।
इस टीम ने किया ऑपरेशन –
अस्पताल अधीक्षक डॉ. जीतेन्द्र गुप्ता ने बताया कि इस जटिल एंजियोप्लास्टी की प्रकिया में हदयरोग विशेषज्ञ, डॉ. सुहेल सिद्दीकी, डॉ. अमित किनरे, डॉ. विकाश मिश्रा, डॉ. शिशिर सोनी, डॉ. प्रदीप जैन एवं समस्त केथलैब स्टॉफ (टेक्नीशियनस् एवं नर्सिंग आफिसरस्) का योगदान रहा।
नेताजी सुभाष चंद्र बोस मेडिकल कॉलेज की डीन डॉ. गीता गुईन व सुपरस्पेशिलिटी अस्पताल के डायरेक्टर डॉ. अवधेश प्रताप सिंह कुशवाहा ने इसके लिए चिकित्सको की टीम व केथलैब स्टॉफ को प्रोत्साहित करते हुए इस अत्याधुनिक एंजियोप्लास्टी सुविधा को ज्यादा से ज्यादा गंभीर हदय रोग के मरीजो को उपलब्ध कराने के लिए कहा है।