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घर में गोली मारकर बीजेपी पूर्व जिला अध्यक्ष ने की खुदकुशी, सुसाइड नोट देख मचा हड़कंप

भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता और नगर पालिका के दो बार अध्यक्ष रहे कन्हैयाराम रघुवंशी ने सुबह 10:30 बजे कमरे में गोली मारकर आत्महत्या कर ली है. गोली की आवाज सुनकर परिजन दौड़े. उन्हें जमीन पर लहूलुहान देखकर उनके होश उड़ गए. परिजनों ने तत्काल पुलिस को सूचित किया.

पुलिस मौके पर पहुंचकर मामले की जांच कर रही है. प्रथम दृष्टया आत्महत्या का कारण डिप्रेशन माना जा रहा है. बताया जा रहा है वह लंबे समय से बीमार चल रहे थे. इस कारण वह परेशान थे. अभी तक आत्महत्या के करने का खुलासा नहीं हो सका है.

कन्हैयाराम रघुवंशी रोजाना की तरह सुबह अपने परिवार के साथ बैठे हुए थे. अचानक 10:30 बजे करीब वह पहली मंजिल स्थित अपने कमरे में चले गए. कमरे का दरवाजा बंद कर लिया. इसके बाद उन्होंने अपनी लाइसेंसी बंदूक से खुद को गोली मार ली. गोली की आवाज सुनते ही परिवार सहित आसपास के लोगों में हड़कंप मच गया. परिजन तत्काल ऊपर पहुंचे. दरवाजा खटखटाया, लेकिन दरवाजा अंदर से बंद था. इसके बाद दरवाजे को तोड़ा गया. जैसे ही अंदर जाकर देखा उनका शरीर लहूलुहान जमीन पर पड़ा हुआ था. देखकर सबके होश उड़ गए. परिजनों में मातम पसर गया. आसपास के लोग भी एकत्रित हो गए.

इसके बाद पुलिस को सूचना दी गई. पुलिस मौके पर पहुंची है. जांच कर रही है. समाचार लिखे जाने तक आत्महत्या के कारणों का पता नहीं चल सका है. उनके कमरे से एक सुसाइड नोट मिला है. जो फिलहाल पुलिस के पास है. अभी तक सुसाइड नोट का खुलासा नहीं किया गया है. पुलिस मामले की जांच कर रही है. कन्हैया राम रघुवंशी भाजपा के जिला अध्यक्ष पद पर रहे हैं इसके बाद वह दो बार नगर पालिका अध्यक्ष बने हैं साथ ही प्रदेश के संगठन के मुख्य पदों पर रहे हैं.

मेडिकल पर्ची पर लिखा गद्दे के नीचे मिला सुसाइड नोट

पुलिस टीम और एफ एस एल टीम ने घटनास्थल पर कमरे से एक सुसाइड नोट जब्त किया है. पुलिस ने बताया कि सुसाइड नोट में लिखा है कि मेरी मौत के लिए कोई जिम्मेदार नहीं है. मैं खुद की इच्छा से सुसाइड कर रहा हूं. मृतक के बेडसीट ने नीचे नागपुर के डॉक्टर की पर्चा में सुसाइड नोट लिखा मिला.

सीने पर लगी थी गोली

मृतक कन्हैयाराम रघुवंशी ने गोली खुद को कैसे मारी पुलिस इस मामले की जांच कर रही है. लेकिन घटनास्थल में मृतक के दोनों पैरों के बीच रायफल की बैरल वाला हिस्सा था और उनके सीने में गोली का घाव था.

लगभग सुबह 10.30 बजे छोटे बेटे मनीष रघुवंशी नीचे वाले फ्लोर में अपने परिवार के साथ थे. फायरिंग की तेज आवाज सुनकर पिता के तरफ दौड़े घर में थे और बड़े बेटे राकेश रघुवंशी पत्नी को बस स्टैंड छोड़कर घर लौटे. इसके बाद दोनो भाई ने मिलकर दरवाजा तोड़ने का प्रयास किया लेकिन नहीं खुलने पर लोहे की रॉड से दरवाजे की कुंडी तोड़ी. दरवाजा कुछ हिस्सा खुलने पर देखा कि दरवाजे के पास पिताजी डेड बॉडी पड़ी हुई थी और पैरों के पास रायफल थी. परिजनों की सूचना पर पुलिस घटना स्थल पहुंची और मामले को जांच में लिया.

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