स्कूल में दो मास्साब पदस्थ…. घर से बैठकर पा रहे वेतन, छात्रों का भविष्य अंधकार : अभिभावकों ने लगाई कलेक्टर से गुहार
मंडला, यश भारत| स्टूडेंट देश का भविष्य निर्धारण करता है और शिक्षक स्टूडेंट को तरासकर उसे सक्षम बनाता है….. आधुनिक शिक्षा पद्धति में प्रतिस्पर्धा के कारण छात्र और शिक्षक दोनों को कड़ी मेहनत करना पड़ती है लेकिन यहां स्थिति पूरी तरह से उल्टी है….जी हां ; स्कूल में दो सरकारी शिक्षक पदस्थ हैं लेकिन स्कूल और छात्रों से इन शिक्षकों का कोई सरोकार नहीं है स्कूल की जिम्मेदारी अतिथि शिक्षक के भरोसे रहती है लेकिन इस सत्र में अतिथि शिक्षक की भी भर्ती नहीं हुई जिसके बाद परेशान छात्रों के अभिभावकों ने अपने बच्चों सहित जनसुनवाई में गुहार लगाइ है।
जानकारी अनुसार जनसुनवाई मंडला में घुघरी विकास खंड अंतर्गत ग्राम पंचायत बरवानी के पोषक गाँव चीतापखना से समस्या को लेकर स्कूली बच्चों के साथ पहुंचे ग्रामवासियों ने बताया कि शासकीय प्राथमिक शाला चीतापखना में 2 शिक्षक एक महिला एक पुरुष पदस्थ हैं लेकिन उनका स्कूल से किसी प्रकार का नाता है न बच्चों के भविष्य से सरोकार …..नये शिक्षा सत्र 2024 – 25 16 जून से शुरू हो चुका है लेकिन आज दिनांक 30 जुलाई तक दोनों शिक्षकों की स्कूल में आमद नहीं हो पायी है इन दोनों शिक्षकों का हाल सिर्फ अभी है, ऐसा नहीं है वो जब से चीतापखना स्कूल में पदस्थ हैं उनकी स्कूल में उपस्थिति राष्ट्रीय पर्व 15 अगस्त को और 26 जनवरी के अलावा यदाकदा ही रहती है स्कूल चलाने के लिए एक अतिथि शिक्षक की व्यवस्था कर ली जाती है जो अकेला संपूर्ण कार्य देखता है और शासकीय शिक्षक घर बैठे सिर्फ वेतन लाभ ले रहे हैं हाल के शिक्षा सत्र में अभी तक अतिथि शिक्षक की भर्ती नहीं होने से स्कूल पूरी तरह बंद की स्थिति में है बच्चे स्कूल जाये भी तो किस लिए इस तरह बच्चों का भविष्य गर्त में नजर आ रहा हैl
ऐसा नहीं है कि ऐसी स्थिति पहली बार बनी है हर साल ऐसी ही स्थिति रहती है जिसकी जानकारी हर साल किसी न किसी अधिकारी को ग्रामीणों व्दारा दी जाती है लेकिन समाधान निकालना कोई नहीं चाहता है शिक्षक और अधिकारियों के बीच का रिश्ता क्या है यह बात वो ही जाने परन्तु भविष्य तो हमारे बच्चों का बर्बाद हो रहा है परेशान ग्रामवासियों ने अपनी समस्या को लेकर जनसुनवाई में पहुंचे थे अधिकारी से मिले आश्वासन से ग्रामीण आशान्वित नजर आये।