शारदा टॉकीज जिंदा किए हुए पुराना दौर
ज्योति टॉकीज की जगह फिर देख पाएंगे फिल्में
एक नहीं दर्जनों कलाकार नाम कमा रहे फिल्मी दुनिया में
जया भादुड़ी बच्चन, अर्जुन रामपाल, रघुवीर यादव का जन्म हुआ जबलपुर में

बदलते युग का एक ऐसा वक्त आया,लगा सिनेमा का पर्दा अब कैसे खुलेगा? समय ने ऐसी करवट ली कि अब सिनेमा का पर्दा 24 घंटे आबाद हो गया ।चार या पाँच शो अपने वक्त की कहानी हो गई । अब आपकी जेब गर्म हो तो कभी भी मल्टी प्लेक्स बुक करिए फिल्म देखिए । किसी जमाने में 22 थियेटर का अपना शहर में चार शो के हिसाब से 88 शो होते थे लेकिन अब 09 मल्टीप्लेक्स और एक थियेटर में आज लगभग 100 से ज्यादा शो होने लगे। बदलते दौर के साथ जबलपुर सिनेमा का भी नजरिया बदला है, यहां कई ऐसे कलाकार हुए जिन्होंने मायानगरी में अपनी एक अलग पहचान बनाई । जबलपुर कलाकारों की भूमि है महाकौशल प्रांत की इस भूमि में अनेक प्रतिभाओं ने जन्म लिया जिन्होंने न सिर्फ जबलपुर का बल्कि अपने दमदार अभिनय के दम पर हिंदी सिनेमा जगत में कामयाबी के रंग भरे हैं एक दौर ऐसा था जब जबलपुर में भी सितारों का आना-जाना बड़े स्तर पर हुआ करता था और आज भी फिल्म जगत के कई सितारे जबलपुर में न सिर्फ शूटिंग करने आते हैं बल्कि जबलपुर के पर्यटन स्थलों में घूमने के लिए भी आते हैं वह यहां की शांत वातावरण में शांति पाते हैं।इस लेख के जरिए आज हम आपको बताएंगे की जबलपुर में कौन-कौन से कलाकार हैं जिन्होंने जबलपुर का नाम अपनी कला के बल पर भारत ही नहीं बल्कि पूरी दुनिया में रोशन किया। भारत के सुप्रसिद्ध अभिनेता याकूब खान का जन्म जबलपुर मध्य प्रदेश में हुआ वह कम उम्र में ही घर से भाग गए थे। मुंबई की शारदा फिल्म कंपनी में काम करना प्रारंभ किया उनकी पहली मूक फिल्म बाजीराव मस्तानी 1925 में रिलीज हुई थी। प्रेमनाथ का जन्म 21 नवंबर 1926 को पाकिस्तान के पेशावर में हुआ था भारत विभाजन के बाद उनके परिवार मध्य प्रदेश के जबलपुर शहर आ गया कुछ दिन यहां रहने के बाद इसके बाद प्रेमनाथ फिल्मों में अभिनेता बने मुंबई चले गए । मशहूर अभिनेत्री जया भादुड़ी बच्चन का जन्म 9 अप्रैल 1948 को जबलपुर जिले में हुआ उनके पिता तरुण कुमार भादुड़ी जो पैसे से पत्रकार लेखक और कवि थे।
अभिनेता शरद सक्सेना का जन्म मध्य प्रदेश के जबलपुर से लगभग 150 किलोमीटर दूर रीवा जिले हुआ था उन्होंने क्राइस्ट चर्च बॉयज सीनियर सेकेंडरी स्कूल जबलपुर से स्कूली शिक्षा प्राप्त की। इन नामों में .रघुवीर यादव अर्जुन रामपाल, नीरज सिंह राजपूत, जेनिफर मिस्ट्री बंसीवाल सहित जैसे कलाकारों के नाम शामिल है। जबलपुर में वर्तमान में 3 मल्टीप्लेक्स है जिसमें 9 परदे हैं, इस दौर में टिकिट के लिए अब लाइनों में कम मोबाइल से ज्यादा टिकिटें बुक हो रही हैं। समदड़िया में 4, मूवी मैजिक 03, और विजय नगर स्थित एसआर मल्टीप्लेक्स में 2 परदे हैं। वर्तमान में जबलपुर सिनेमा को इतिहास है वह पन्नों में सिमट जाएगा यह कहा नहीं जा सकता क्योंकि जिस तरह से नेट फिलेक्स जैसे ओटीटी चौनल नई और सभी प्रकार की फिल्में परोस रहा है जिससे कहा जा सकता है कि आने वाला दौर ओटीटी चौनलों का होगा।

पुरानी यादों को ताजा कर रही शारदा टॉकीज
एक दौर था जब टॉकीजों में मूवी देखने के लिए लोगों की लंबी-लंबी कतारें लगा करती थी परंतु वक्त के साथ सबकुछ बदल गया, मल्टीप्लेक्स की टिकिटें लेने के लिए अब लाइनों की जरूरत नहीं है बस अपने मोबाइल फोन बुकिंग होती है। टॉकीजों का इतिहास भले ही पन्नों में सिमट गया परंतु गोरखपुर स्थित शारदा टॉकीज उन यादों को समेटे हुए हैं आज भी यह सिनेमा पहले की तरह संचालित हो रहा है, नई-पुराने फिल्में आज भी इस टॉकीज में रिलीज हो रही हैं।

ज्योति को छोड़ शेष टॉकीजों की जमीन पर तन गए व्यापारिक भवन
22 टॉकीजों वाले जबलपुर शहर में सिर्फ सिनेमाघरों के नाम बचे है सिर्फ ज्योति सिनेमा घर को छोड़ दें तो कहीं पर भी लोग फिल्में नहीं देख पाएंगे, ज्योति टॉकीज की जमीन पर नया मल्टीप्लेक्स तैयार हो चुका है और जल्द ही इसका शुभारंभ होगा यह शहर की पहली टॉकीज की जमीन होगी जिसकी जमीन पर बैठकर लोग मल्टीप्लेक्स में फिल्में देख पाएंगे।
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