50 साल से अधिक उम्र के कर्मचारियों का काम जांचेगा स्वास्थ्य विभाग, अनिवार्य सेवानिवृत्ति पर कमेटी फैसला करेगी
स्वास्थ्य विभाग में 50 साल या उससे अधिक उम्र के कर्मचारियों की स्क्रीनिंग होगी। तीन सदस्यीय कमेटी का गठन हो गया है। इस स्क्रीनिंग में लापरवाह, दागी और दोषी कर्मचारियों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति पर कमेटी फैसला करेगी। यह स्क्रीनिंग लिपिक एवं आशुलिपिक कैडर के कर्मचारियों की होगी। इसके लिए शासन ने आदेश जारी कर दिया है।
निदेशक प्रशासन शिव सहाय अवस्थी की ओर से सभी विभागाध्यक्षों, अपर निदेशक स्वास्थ्य और महानिदेशक को भेजे पत्र में कहा गया है कि 26 अक्टूबर 1985 और छह फरवरी 1989 को शासन ने अलग-अलग आदेश जारी किया है। इस आदेश में वित्तीय हस्तपुस्तिका के खंड दो, भाग दो से चार तक में मूल नियम-56 में यह व्यवस्था है कि 50 वर्ष से अधिक आयु के किसी भी कर्मचारी को बगैर कारण बताएं तीन महीने की नोटिस या तीन महीने का वेतन देकर अनिवार्य सेवानिवृत्ति दी जा सकती है।
इसी नियम के तहत स्क्रीनिंग की जानी है। स्क्रीनिंग में 31 मार्च 2024 को 50 वर्ष की अवस्था पूरी कर चुके कर्मचारियों के कार्यक्षमता का आंकलन किया जाएगा। शासन मानक से नीचे मिले कर्मचारी को अनिवार्य सेवानिवृत्ति देने पर विचार कर सकता है।
15 बिंदुओं पर मांगी गई है रिपोर्ट :
निदेशक प्रशासन ने लिपिक और आशुलिपिक को लेकर विभागाध्यक्षों से 15 बिंदुओं पर रिपोर्ट मांगी है। इसमें उनके तैनाती का वर्ष, सेवाकाल, शिकायत हुई या नहीं, जांच रिपोर्ट और सजा पर आख्या मांगी है। इसके अलावा विभागाध्यक्ष से कर्मचारियों के संदर्भ में फीडबैक भी मांगा है। मंडल स्तर पर सूची तैयार कर अपर निदेशक को एक हफ्ते में रिपोर्ट प्रेषित करनी है। रिपोर्ट स्क्रीन करने के बाद 15 दिन के अंदर तीन सदस्यीय कमेटी के समक्ष पेश की जाएगी। रिपोर्ट के आधार पर ही छंटनी पर फैसला होगा।