MP विधानसभा का मानसून सत्र खत्म:महंगाई पर विपक्ष के हंगामे के बीच अवैध कॉलोनी को वैध करने और जहरीली शराब से मौत पर फांसी का विधेयक पास

मध्यप्रदेश विधानसभा का मानसून सत्र दूसरे ही दिन हंगामे की वजह अनिश्चितकालीन समय के लिए स्थगित कर दिया गया है। हंगामे के बीच सरकार ने अनुपूरक बजट और दो संशोधन विधेयक पास करा लिया। सरकार ने अवैध कॉलोनी को वैध करने और जहरीली शराब से मौत पर फांसी की सजा के प्रावधान वाले विधेयक विधानसभा में पेश किए थे। विधानसभा में विधेयक पास होने के बाद अब इन्हें राज्यपाल की मंजूरी के लिए भेजा जाएगा। विधानसभा शुरू होते ही महंगाई के मुद्दे पर विपक्ष ने सरकार को जमकर घेराl प्रश्नकाल के दौरान पेट्रोल-डीजल के दामों को लेकर पूछे गए सवाल पर चर्चा के दौरान नेता प्रतिपक्ष कमलनाथ ने यह मुद्दा उठायाl इसको लेकर सदन में हंगामा तब शुरू हो गया, जब वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने यह कह दिया कि पेट्रोल-डीजल के दाम कमलनाथ सरकार के समय पर बढ़े थेl
प्रथम अनुपूरक बजट पास
प्रदेश सरकार वर्ष 2021-22 के लिए विधानसभा में मंगलवार को प्रथम अनुपूरक बजट पास करा लिया। इसमें कोरोना संकट से निपटने के लिए स्वास्थ्य, चिकित्सा शिक्षा सहित अन्य विभागों को अतिरिक्त राशि उपलब्ध कराई जाएगी। वहीं, मिलावटी (जहरीली) शराब के कारोबार पर नकेल कसने के लिए आबकारी अधिनियम में संशोधन और अवैध कॉलोनियों के निर्माण को वैध करने के लिए नगर पालिका विधि संशोधन विधेयक सदन में हंगामे के बीच पास हो गए।
तय FAR से 30% ज्यादा निर्माण हो सकेगा वैध
प्रदेश में अवैध कॉलोनियों को नियमित करने के लिए नगर पालिका विधि संशोधन विधेयक विधानसभा में पास हो गया है। इसके मुताबिक यदि आपने प्लॉट पर निर्धारित FAR (फ्लोर एरिया रेशो) से 30% अधिक निर्माण कर लिया है, तो उसे वैध कराया जा सकेगा।
अवैध निर्माण को नियमित कराने के लिए फ्रंट एमओएस पर छूट नहीं मिलेगी। साइड व रीयर एमओएस पर अधिक निर्माण को वैध कराने की सुविधा रहेगी। अभी भी यही व्यवस्था है, इसमें बदलाव नहीं होगा। यानी मकान के आगे की तरफ ज्यादा निर्माण करने पर छूट नहीं मिलेगी, लेकिन बगल या पीछे ज्यादा निर्माण पर अतिरिक्त शुल्क देकर छूट ली जा सकती है।
नकली शराब से मौत पर फांसी की सजा
मध्य प्रदेश में शराब से मौत होने पर आरोपी को अब उम्र कैद की सजा होगी। इसके लिए शिवराज सरकार ने आबकारी एक्ट में संशोधन किया है। मंगलवार को यह विधेयक भी पास हो गया। विधेयक में प्रावधान है कि जहरीली शराब से मौत होने जैसे गंभीर मामलों में मौत की सजा के प्रावधान को भी जोड़ा गया है। यदि शराब में मिलावट पाई जाती है, तो मौत की भी सजा का प्रावधान किया गया है। इतना ही नहीं, अवैध शराब पकड़ने के दौरान यदि किसी ने बाधा डाली, तो बिना वारंट के गिरफ्तारी का अधिकार आबकारी अफसरों को होगा।
आसंदी के पास पहुंचे कांग्रेस विधायक
इस पर कमलनाथ ने कहा कि महंगाई देश और प्रदेश में गंभीर मुद्दा है। इस पर सदन में बहस होना चाहिए। इसको लेकर हमने स्थगन प्रस्ताव दिया है। इसे स्वीकार किया जाना चाहिएl इसके बाद सत्ता पक्ष के विधायक इसका विरोध करने लगे तो कांग्रेस के विधायक आसंदी के सामने पहुंच गए। विपक्ष के विधायक मांग करने लगे कि महंगाई के मुद्दे पर सदन में चर्चा होना चाहिएl हंगामा बढ़ता देख अध्यक्ष गिरीश गौतम ने विधानसभा की कार्यवाही आधे घंटे के लिए स्थगित कर दीl
फिर उठा आदिवासियों का मुद्दा
विधानसभा में आज दूसरे दिन फिर आदिवासियों का मुद्दा उठाl इस बार सत्ता पक्ष ने यह मामला उठायाl भितरवार से कांग्रेस विधायक लाखन सिंह यादव ने क्षेत्र के एक मंदिर के पुजारी का मामला उठाया था l उन्होंने कहा कि इस मामले की जांच तहसीलदार से कराई गई जो एक महिला अधिकारी है । विधायक ने इस अधिकारी के लिए बेचारी शब्द का प्रयोग किया। इसको लेकर धार्मिक न्यास एवं संस्कृति मंत्री उषा ठाकुर ने आपत्ति जताई और कहा कि आदिवासी महिला बेचारी नहीं हो सकतीl उन्होंने विधायक से माफी मांगने की मांग की। इसे लेकर सदन में कुछ देर गतिरोध पैदा हुआ, लेकिन अध्यक्ष ने मामले को शांत करा दियाl
सीएम ने कहा- आदिवासियों के मामले में कांग्रेस पाखंड कर रही है
विधानसभा के बाहर पत्रकारों से बातचीत में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि कांग्रेस आदिवासियों के मामले में पाखंड कर रही है। वह घटिया राजनीति कर रही है। कांग्रेस भ्रम फैलाने की कोशिश कर रही है और समाज को तोड़ने के अभियान में लगी है। कल आदिवासियों को लेकर भ्रम फैलाया गया और आज उन्होंने पाखंड किया है।
ओबीसी आरक्षण पर भी घेरा
सीएम ने ओबीसी आरक्षण पर कहा कि 8 मार्च 2019 को 14 से 27 प्रतिशत आरक्षण लागू करने का फैसला तत्कालीन कांग्रेस सरकार ने लिया था। 10 मार्च को याचिका लगी और 19 मार्च को स्टे आ गया। 10 से 19 तक तत्कालीन सरकार ने अपना एडवोकेट जनरल तक कोर्ट में खड़ा तक नहीं किया। तत्कालीन सरकार ने अपने शासन के दौरान कोई प्रयास तक नहीं किया। कमलनाथ ने पिछड़े वर्ग की पीठ पर छुरा घोंपा है।पिछड़ा वर्ग को कांग्रेस ने धोखा दिया। कमलनाथ जवाब दे कि 27% आरक्षण बरकरार रखने के लिए कांग्रेस ने क्या किया?