आरोपी वकील की जमानत खारिज होने से भडक़े वकीलों ने कोर्ट में पत्रकारों से की मारपीट

नाबालिग से दुष्कर्म और पॉक्सो एक्ट का मामला
आरोपी वकील की जमानत खारिज होने से भडक़े वकीलों ने कोर्ट में पत्रकारों से की मारपीट
-एमपी नगर थाना पुलिस ने वकीलों के खिलाफ दर्ज किया केस, कोर्ट में पत्रकारों पर हमले की घटना से मीडिया जगत में नाराजगी
भोपाल, यशभारत। राजधानी की जिला अदालत में कल उस वक्त अफरा-तफरी मच गई जब एक नाबालिग से दुष्कर्म और पॉक्सो एक्ट में गिररफ्तार आरोपी वकील को कोर्ट में पेश किया गया। इसके बाद विशेष न्यायाधीश एवं एडीजे कुमुदिनी पटेल की कोर्ट ने आरोपी वकील यावर खान की अमानत अर्जी खारिज कर दी। जमानत अर्जी खारिज होने से आरोपी वकील के समर्थकों वकीलों कवरेज करने पहुंचे दो पत्रकारों को घेर लिया और मारपीट शुरू कर दी। पत्रकार खुद को बचाने के लिए कोर्ट रूम में पहुंचे तो वकीलों की भीड़ भी अंदर दाखिल हो गई। यह देख मजिस्ट्रेट ने वकीलों को अवमानना की चेतावनी दी। इसके बाद वकील बाहर आए। इस मारपीट की घटना में दोनों पत्रकारों को चोट आई है। पुलिस ने इस मामले में आरोपी वकीलों के खिलाफ मारपीट समेत विभिन्न धाराओं के तहत केस दर्ज किया है।
जानकारी के मुताबिक अशोका गार्डन थाना पुलिस ने एक नाबालिग से दुष्कर्म और पॉक्सो एक्ट के मामले में आरोपी वकील यावर खान को रविवार को बैरसिया रोड से गिरफ्तार किया था। इसके बाद आरोपी यावर खान को कल पुलिस ने कोर्ट में पेश किया। इस दौरान आरोपी के पक्षकार वकील ने कोर्ट में जमानत अर्जी लगाई थी। जिस पर सुनवाई करते हुए विशेष न्यायाधीश एवं एडीजे कुमुदिनी पटेल की कोर्ट ने आरोपी वकील यावर खान की अमानत अर्जी खारिज कर दी। जमानत अर्जी की सुनवाई के वक्त कोर्ट रूम के बाहर आरोपी यावर खान के समर्थक वकीलों की भीड़ जमा हो गई थी। जो जमानत अर्जी खारिज होते ही नाराज होकर नारेबाजी करने लगे। इसी वक्त कोर्ट रूम के बाहर दैनिक भास्कर के पत्रकार अली अख्तर और अन्य पत्रकार कवरेज कर रहे थे। यह देख आरोपी यावर खान के समर्थक वकीलों ने न्यूज कवरेज पर अपत्ति जताई और पत्रकारों पर हमला कर दिया। करीब 20 वकीलों ने पत्रकार अली अख्तर और नीरज मिश्रा के साथ जमकर मारपीट शुरू कर दी।
जज की चेतावनी के बाद रूके वकील-
मारपीट की घटना के दौरान दोनों पत्रकार बचने के लिए कोर्ट रूम में घुस गई, उनके पीछे वकीलों की भीड़ भी कोर्ट रूम में दाखिल हो गई और पत्रकारों को घेरने लग। तभी जज ने हंंगामा और नारेबाजी कर पत्रकारों पर हमला करने वाले वकीलों को अवमानना की चेतावनी दी और कोर्ट रूम से बाहर जाने को कहा। तब जाकर पत्रकारों की जान बच पाई। इस घटना के बाद जज को भी सुरक्षा घेरे में कोर्ट रूम से बाहर निकला पड़ा।
वकीलों पर एफआईआर दर्ज-
इस घटना के बाद मारपीट में घायल पत्रकारों ने एमपी नगर थाने पहुंच कर शिकायत की थी। जिस पर पुलिस ने बलात्कार के आरोपी वकील यावर खान के समर्थक वहीद खान, आनंद समेत अन्य आरोपी वकीलों के खिलाफ मारपीट, गाली-गलौच और धमकी देने समेत बीएनएस की विभिन्न धाराओं के तहत केस दर्ज किया है।
क्या है पूरा मामला-
जनवरी 2023 में अशोका गार्डन पुलिस ने एक नाबालिग के अपहरण का केस दर्ज किया था। मामले की जांच के दौरान दो साल बीत जाने पर जनवरी 2025 में पुलिस ने अपहर्त किशोरी को अशोक नगर जिले से बरामद किया। आगे की जांच में सामने आया कि उसे 2 लाख रुपए में शादी के लिए बेचा गया था। कोर्ट में बयान देते वक्त नाबालिग ने बताया कि आरोपियों के वकील यावर खान ने भी अपने ऑफिस और घर में कई बार उसका शोषण किया। किशोरी ने कहा कि अब तक उसे वकील का नाम याद नहीं था, लेकिन कोर्ट में अन्य वकील द्वारा नाम लेने पर उसे उसका नाम याद आया। जज ने 11 सितंबर को पुलिस को कार्रवाई के आदेश दिए। इसी आधार पर अशोका गार्डन पुलिस ने रविवार को आरोपी वकील यावर खान को गिरफ्तार किया गया। आरोपी वकील यावर खान नाबालिग को अगवा कर बेचने और दुष्कर्म के आरोपियों का केस लड़ रहा था।
मीडिया जगत ने नाराजगी:-
कोर्ट परिसर में सुनवाई के दौरान कवरेज करने पहुंंचे पत्रकारों से वकीलों द्वारा मारपीट करने की घटना के बाद मीडिया जगत में नाराजगी है। इस घटना के विरोध में भोपाल समेत मध्य प्रदेश में सक्रिय सभी पत्रकार संगठन मिलकर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव, डीजीपी कैलाश मकवाणा और जनसंपर्क आयुक्त दीपक सक्सेना से पत्रकारों को लेकर सुरक्षा कानून बनाने की मांग करेंगे। साथ ही घटना में शामिल आरोपी वकीलों पर सख्त कार्रवाई कर उनका वकालत लाइसेंस निरस्त कराने की मांग करेंगे।
कोर्ट में इस तरह का बर्ताव ठीक नहीं-
सोमवार को न्यूज कवरेज के दौरान पत्रकारों के साथ हुई मारपीट की घटना निंदनिय है। वकीलों को जज के फैसले का सम्मान करते हुए अपनी भावनाओं को नियंत्रण में रखना चाहिए। आज शाम इस घटना के संबंध में जिला अभिभाषक संघ के पदाधिकारियों की बैठक बुलाई गई है। जिसमें सभी पदाधिकारियों से ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए चर्चा की जाएगी।
दीपक खरे, अध्यक्ष, जिला अभिभाषक संघ भोपाल







