हाई कोर्ट ने निरस्त की लीज नवीनीकरण आवेदन निरस्त करने के आदेश को चुनौती वाली याचिका

-क्रिश्चियन मिशनरी की करीब एक लाख ७० हजार वर्गफुट जमीन से जुड़ा मामला
-पूर्व बिशप डा. पीसी सिंह का भ्रष्टाचार उजागर होने के बाद की गई कार्रवाई
जबलपुर ।हाई कोर्ट ने पूर्व बिशप डा. पीसी सिंह का भ्रष्टाचार उजागर होने के बाद क्रिश्चियन मिशनरी की करीब एक लाख ७० हजार वर्गफुट जमीन की लीज नवीनीकरण के आवेदन को निरस्त करने के आदेश को चुनौती देने वाली याचिका निरस्त कर दी। दीपावली के दिन विशेष कोर्ट में इस मामले की सुनवाई हुई। विशेष कोर्ट ने ने द यूनाइटेड क्रिश्चियन मिशनरी सोसायटी और द यूनाइटेड चर्च अाफ नाथर्न इंडिया ट्रस्ट एसोसिएशन की याचिका पोषणीय न पाते हुए किसी तरह की कोई राहत देने से इनकार कर दिया।
न्यायमूर्ति सुश्रुत अरविंद धर्माधिकारी की एकलपीठ ने अपने आदेश में साफ किया कि याचिकाकर्ताओं के पास अपील करने के लिए विकल्प उपलब्ध है और वो चाहें तो उसका लाभ उठा सकते हैं। इस मामले की सुनवाई के दौरान राज्य शासन की ओर से महाधिवक्ता प्रशांत सिंह, अतिरिक्त महाधिवक्ता हरप्रीत रूपराह, उप महाधिवक्ता विवेक शर्मा व शासकीय अधिवक्ता शिव कुमार श्रीवास्तव ने पक्ष रखा। दलील दी गई कि मूलत: द यूनाइटेड क्रिश्चियन मिशनरी सोसायटी के नाम लीज जारी की गई थी। यह संस्था यूनाइटेड स्टेट्स आफ अमेरिका में रजिस्टर्ड है। सोसायटी ने सीएनआई ट्रस्ट एसोसिएशन को ऐसा कोई अधिकार प्रदान नहीं किया जिसके जरिए वो भारत की संपत्ति का प्रबंधन कर सके। ऐसी स्थिति में सीएनआई ट्रस्ट एसोसिएशन ऐसा कोई पत्र जारी नहीं कर सकती जिसके जरिए याचिकाकर्ता क्रमांक एक हाई कोर्ट में याचिका दायर कर सके। इसलिए यह याचिका सारहीन होने के कारण निरस्त करने योग्य है।
क्या है मामला :
उल्लेखनीय है कि अपर कलेक्टर न्यायालय द्वारा २३ सितम्बर को जारी आदेश में यूनाईटेड क्रिश्चियन मिशनरी सोसायटी मार्फत पीसी सिंह की नेपियर टाउन सिविल स्टेशन नजूल ब्लाक नम्बर-चार के प्लाट नम्बर १५/१, १५/८, १५/९, १५/१०, १५/१५, १५/१६, १५/१७, १५/३०, १५/३१ और १५/४२ की कुल एक लाख ७० हजार ३२८.७ वर्गफुट भूमि का लीज प्रकरण निरस्त कर मध्यप्रदेश शासन राजस्व विभाग के नाम दर्ज करने के आदेश तहसीलदार रांझी दिए गए थे। न्यायालय अपर कलेक्टर ने याचिकाकर्ताओं द्वारा लीज नवीनीकरण के आवेदन को भी निरस्त कर दिया था। इसके बाद द यूनाइटेड क्रिश्चियन मिशनरी सोसायटी के प्रभारी बिशप ब्रूस ली थंगादुराई व द यूनाइटेड चर्च आफ नाथर्न इंडिया ट्रस्ट एसोसिएशन ने हाई कोर्ट में याचिका दायर कर कहा कि मप्र भू-राजस्व अधिनियम की धारा १२२ के तहत सुनवाई का मौका दिए बिना ही लीज निरस्त कर दी गई और नवीनीकरण का आवेदन भी निरस्त कर दिया गया, जो कि चुनौती के योग्य है।