मध्यप्रदेश बालक-बालिका खो-खो टीम हुई बाहर:बालिका वर्ग को तमिलनाडू ने हराया, बालक वर्ग की टीम तेलंगाना से जीतकर भी हुई बाहर

खेलों इंडिया यूथ गेम्स में निराशाजनक प्रदर्शन करते हुए मध्यप्रदेश खो-खो बालक, बालिका टीम का सफर आखिरकार आज खत्म हो गया। जबलपुर के रानीताल स्टेडियम में चल रहें खेलों इंडिया यूथ गेम्स में मध्यप्रदेश की बालिका वर्ग खो-खो टीम के खराब प्रदर्शन का दौर जारी रहा। बालिका वर्ग को आज तमिलनाडू की टीम से हराकर बाहर होना पड़ा, हालांकि बालक वर्ग की टीम ने आज तेलंगाना को जरूर हराया है, पर पहले दो मैच हारने के बाद उन्हें भी बाहर होना पड़ा।
जबलपुर के रानीताल स्टेडियम में चल रहे खेलों इंडिया यूथ गेम्स के तीसरे दिन आज खो-खो टीम बालिका वर्ग के दो मैच हुए। ग्रुप- A में मध्यप्रदेश की बालिकाओं का तमिलनाडू की टीम से सामना हुआ जिसमें तमिलनाडू ने 6 पॉइंट से जीत दर्ज की है। तमिलनाडू को 22 पॉइंट मिलें जबकि मध्यप्रदेश की बालिका वर्ग की टीम को 16 पॉइंट से सन्तोष करना पड़ा। इस तरह से बालिका वर्ग की टीम अपने सभी मैच हराकर बाहर हो गई। वही ग्रुप-B के बालिका वर्ग के मैच में राजस्थान और पश्चिम बंगाल के बीच भिड़ंत हुई जिसमें कि पश्चिम बंगाल को 14 पॉइंट से जीत मिली है।
खेलों इंडिया यूथ गेम्स में तीसरे दिन बालक वर्ग खो-खो ग्रुप-A मैच में मध्यप्रदेश का मुकाबला तेलंगाना की टीम से हुआ जिसमें बालक वर्ग मध्यप्रदेश की टीम ने तेलंगाना को 2 पॉइंट से हरा दिया। मध्यप्रदेश की टीम को 32 पॉइंट मिलें जबकि तेलंगाना की टीम को 30 पॉइंट मिलें। वही ग्रुप-B खो-खो मैच में आंध्रप्रदेश और छत्तीसगढ़ के बीच मुकाबला हुआ जिसमें की आंध्र प्रदेश को जीत मिली। आंध्रप्रदेश ने छत्तीसगढ़ को 2 पॉइंट से हरा दिया।
खेलों इंडिया यूथ गेम्स में मध्यप्रदेश की खो-खो टीम का सफर यहीं तक था। तीनों दिन बालिका टीम का प्रदर्शन निराशाजनक रहा। बालिका टीम अपने सभी मैच हारकर बाहर हो गई। जबकि खो-खो बालक वर्ग की टीम ने तीन में से महज एक मैच जीत पाई, लिहाजा बालक वर्ग की टीम को भी बाहर होना पड़ा। मध्यप्रदेश बालिका वर्ग खो-खो टीम की कोच गोल्डी ने हार को लेकर कहा कि हमारी प्रैक्टिस बहुत अच्छी थी लेकिन सामने वाली टीम कहीं ना कहीं हमसे अच्छा खेली और जीत गई।
मध्यप्रदेश के जबलपुर सहित अन्य जिलों में चल रहे खेलो इंडिया यूथ गेम्स में नाडा याने (नेशनल एंटी डोपिंग एजेंसी) की टीम ने भी अपनी नजर जमाए हुए हैं। फेयर-प्ले के लिए नाडा की टीम हर मैच हर खिलाड़ी पर नजर बनाए हुए हैं। बता दें कि नाडा याने (नेशनल एंटी डोपिंग एजेंसी) खेल मंत्रालय के द्वारा गठित की जाती है। जिनका काम फेयर-प्ले गेम्स को देखना होता है। नाडा अधिकारी विकास त्यागी ने बताया कि जबलपुर सहित वह तमाम जिले जहां पर की खेलों इंडिया यूथ गेम्स हो रहा है, उन गेम्स पर हमारी नजरें बनी है। नाडा खिलाडियों से अपील कर रहीं है कि खेल के दौरान किसी भी तरह की दवाइयों का सेवन ना करें क्योंकि यह दवाइयां आपकी सेहत के लिए खतरनाक है।