अध्यात्ममध्य प्रदेशराज्य
बहन यमुना को यम ने दिया था वचन, इसलिए मनाते हैं भाई दूज

पौराणिक ग्रंथों के अनुसार कई सालाें बाद मृत्यु के देवता यमराज अपनी बहन यमुना से मिलने उनके घर पहुंचे थे। इससे यमुना बहुत खुश हुई और भाई का स्वागत तिलक लगाकर किया। बहन से विदा होते समय यम ने वरदान मांगने के लिए कहा। बहन यमुना ने वर मांगा कि जिस तरह आप मेरे घर आए, वैसे ही हर भाई अपनी बहन के घर जाए और उसकी अकाल मृत्यु न हो।
यमराज ने बहन यमुना को आशीर्वाद दिया। जिस दिन यमराज, बहन से मिलने गए थे, उस दिन कार्तिक कृष्ण पक्ष की द्वितीया तिथि थी। कालांतर में इस तिथि को भाई दूज के रूप में मनाया जाने लगा। घर-घर में भाई दूज का पर्व श्रद्धा-उल्लास से मनाया जाएगा।